बिहार की राजनीति में चुनाव से पहले इस बार नाथूराम गोडसे की एंट्री बीजेपी ने करा दिया है,बीते दिन केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने महात्मा गांधी के हत्यारे नाथूराम गोडसे को देश का सपूत कहते हुए एक बार फिर से नया विवाद खड़ा कर दिया है।आपको बताते चले की केंद्रीय मंत्री ने बीते दिन नाथूराम गोडसे को लेकर कहा था की भले ही गोडसे ने महात्मा गांधी की हत्या कि लेकिन वह भी भारत के सपूत थे।

अब इस बयान के बाद बिहार हीं नहीं बल्कि पूरे देश की राजनीति में गरमाहट आ गई है।कांग्रेस नेताओं के तरफ से बीजेपी पर आरोप लगाते हुए कहा जा रहा है की बीजेपी ने अपनी सच्चाई को स्वीकार किया है की वह नाथूराम गोडसे के समर्थक हैं।वहीं इस बयान पर नीतीश कुमार की पार्टी जदयू के तरफ से भी गिरिराज सिंह पर हमला बोला गया है। जेडीयू नेता नीरज कुमार ने बीजेपी पर हमला बोलते हुए कहा है कि गोडसे को देश का मां का सपूत कहना भारत के माथे पर कलंक के समान है। गोडसे देश का नहीं बल्कि बीजेपी का सपूत हो सकता है,जिसने राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की हत्या कर दी वह भारत का सपूत कैसे हो सकता है।

जब गोडसे देश का सपूत हो सकता है तो क्या वीरप्पन, चंबल के डकैत, गुडें और अपराधी भी भारत माता के सपूत हैं? गोडसे भाजपा का सपूत हो सकता है लेकिन जो राष्ट्रपिता की हत्या कर दे वह भारत मां का सपूत नहीं हो सकता है। राष्ट्रपिता के हत्यारे का महिमा मंडित किया जाना राजनीति के कुसंस्कार को दर्शाता है।आपको बताते चले की छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा में गिरिराज सिंह ने नाथूराम गोडसे को भारत का सपूत बता दिया था।बीते दिन गिरिराज सिंह ने कहा था कि गोडसे अगर गांधी के हत्यारा हैं तो भारत के सपूत भी हैं। वे भारत में पैदा हुए थे और वह औरंगजेब और बाबर की तरह आक्रमणकारी नहीं थे।

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