केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट के तीन जजों की नियुक्ति के लिए कॉलेजियम की सिफारिशों को मंजूरी दे दी है. कॉलेजियम ने सुप्रीम कोर्ट जजों के रूप में तीन हाई कोर्ट के मुख्य न्यायाधीशों के नामों के लिए सिफारिश की थी. भारत के मुख्य न्यायाधीश (सीजेआई) डीवाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता में सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम ने दिल्ली हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश सतीश चंद्र शर्मा, राजस्थान हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश ऑगस्टीन जॉर्ज मसीह और गुवाहाटी हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश संदीप मेहता के नामों की सुप्रीम कोर्ट के जज के रूप में सिफारिश की थी.कॉलेजियम ने अपने प्रस्ताव में कहा था कि वह उच्च न्यायालयों के योग्य मुख्य न्यायाधीशों और वरिष्ठ न्यायाधीशों की योग्यता, निष्ठा और क्षमता का सावधानीपूर्वक मूल्यांकन करने के बाद तीन जजों को सुप्रीम कोर्ट के जज के रूप में नियुक्त होने के लिए सभी प्रकार से योग्य और उपयुक्त पाता है.सुप्रीम कोर्ट के पास 34 जजों की स्वीकृत शक्ति है।

मौजूदा समय में 31 जजों के साथ सुप्रीम कोर्ट काम कर रहा था. केंद्र सरकार की ओर से कॉलेजियम की सिफारिश को मंजूरी मिलने के बाद अब शीर्ष अदालत के पास अपनी पूरी शक्ति हो गई है यानी अब सुप्रीम कोर्ट में 34 जज हो जाएंगे. जस्टिस एस रवींद्र भट्ट हाल ही में 20 अक्टूबर को रिटायर हुए हैं, जबकि जस्टिस वी रामसुब्रमण्यम और जस्टिस कृष्ण मुरारी क्रमशः जून और जुलाई में रिटायर हुए.जस्टिस सतीश चंद्र शर्मा को पहली बार 2008 में मध्य प्रदेश हाईकोर्ट के जज के रूप में नियुक्त किया गया था और 2021 में उन्हें तेलंगाना हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस के रूप में पदोन्नत किया गया था. 2022 में उन्हें चीफ जस्टिस के रूप में दिल्ली हाईकोर्ट भेजा गया था.जस्टिस ऑगस्टीन जॉर्ज मसीह को 2008 में पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट के जज के रूप में नियुक्त किया गया था और इस साल मई में उन्हें राजस्थान हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस के रूप में पदोन्नत किया गया था.जस्टिस संदीप मेहता को 2011 में राजस्थान हाईकोर्ट के जज के रूप में नियुक्त किया गया था और इस साल फरवरी में उन्हें गुवाहाटी हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस के रूप में पदोन्नत किया गया था।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *