जी20 की शानदार सफलता के बाद अब दिल्ली में P20 यानी पार्लियामेंट-20 की तैयारी हो रही है. 12-14 अक्टूबर तक होने वाले इस सम्मेलन में जी20 समिट में भाग लेने वाले सभी देशों की संसद के अध्यक्ष और उनके साथ आए सांसदों के प्रतिनिधिमंडल शामिल होंगे. यह कार्यक्रम देश की नई संसद भवन में होगा. P-20 सम्मेलन के जरिए पूरी दुनिया भारत के लोकतंत्र के नए मंदिर से भी रूबरू होगी. वन अर्थ, वन फैमिली एवं वन फ्यूचर के लक्ष्यों के साथ P20 सम्मेलन के दौरान भारत अपने सदियों पुराने लोकतांत्रिक इतिहास को दुनिया के सामने रखने वाला है.P20 समिट का मुख्य कार्यक्रम 13-14 अक्टूबर है लेकिन सम्मेलन की शुरूआत 12 अक्टूबर से होगी. पहले दिन पार्लियामेंटरी फोरम ऑन लाइफ के थीम पर कई इवेंट होंगे. राज्यसभा के सभापति जगदीप धनखड़ एवं लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला के नेतृत्व में इन कार्यक्रमों को अंतिम रूप दिया जा रहा है. सम्मेलन में कुल चार सत्र रखे गए हैं. पहला सत्र “Agenda 2030 for SDGs: Showcasing Achievements, Accelerating Progress” के नाम से है. यह संयुक्त राष्ट्र द्वारा वर्ष 2030 तक सतत विकास लक्ष्यों पर आधारित है.इसमें कोरोना महामारी के बाद विश्व स्तर पर गरीबी और पिछड़ेपन की चुनौतियों का सामना करने के लिए बनाई गई नीतियों और उसके क्रियान्वयन की समीक्षा होगी।
इस सत्र में भारत अपने विभिन्न जनकल्याणकारी योजनाओं को एक रोल मॉडल के तौर पर सभी देशों के सामने पेश करने वाला है. दूसरा सत्र “Sustainable Energy Transition: Gateways to a Green Future” के ऊपर है. यह वैकल्पिक उर्जा स्त्रोतों के जरिए जलवायु परिवर्तन की चुनौतियों से निपटने को लेकर है. इस सत्र के दौरान विकसित देशों को अपने उन वादों को पूरा करने पर जोर होगा, जिसके तहत बजट और टेक्नोलॉजी के जरिए विकासशील देशों को मदद देने पर सहमति बनी थी।